Gita Press
Nitya Stuti Aur Prarthna - 444
Nitya Stuti Aur Prarthna - 444
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नित्य स्तुति और प्रार्थना (पुस्तक कोड: 444) गीता प्रेस, गोरखपुर द्वारा प्रकाशित एक अत्यंत उपयोगी और भक्तिपरक पुस्तक है, जिसके लेखक पूज्य श्री स्वामी रामसुखदास जी महाराज हैं। इस पुस्तक में दैनिक जीवन में श्रद्धा और भावपूर्वक की जाने वाली स्तुतियों, प्रार्थनाओं, श्लोकों और आरतियों का सुंदर संग्रह किया गया है, जिन्हें कोई भी साधक आसानी से अपने नित्य पूजन या जप के समय पढ़ सकता है। इसमें विभिन्न देवी-देवताओं की स्तुतियाँ तथा आत्मिक उन्नति की प्रार्थनाएँ अत्यंत सरल भाषा में प्रस्तुत की गई हैं, जो मन को शांति, श्रद्धा और भक्ति से भर देती हैं। स्वामी रामसुखदास जी की रचनात्मक शैली इस पुस्तक को विशेष बनाती है, क्योंकि इसमें केवल पाठ नहीं, बल्कि भावना और समर्पण का मार्ग भी दिखाया गया है। ‘नित्य स्तुति और प्रार्थना’ साधकों के लिए एक ऐसा दिव्य ग्रंथ है, जो उनके दैनिक जीवन को भक्ति और शुद्धता से ओतप्रोत कर देता है।
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